-'परिवर्तन लाने को निष्पक्ष मतदान जरूरी'-
अशोक सिंह, जमशेदपुर : दैनिक जागरण का जनजागरण अभियान सराहनीय प्रयास है परंतु जब राजनैतिक पार्टियां, व्यक्ति विशेष, पार्टी विशेष व समूह विशेष की जागीर बन गयी हो तो समाज में किसी तरह की आशा करना व्यर्थ है। यदि समाज में परिवर्तन लाना है तो निष्पक्ष मतदान जरूरी है। ये बातें शहर में मतदान के लिए अलख जगाने निकले दैनिक जागरण के जनजागरण अभियान के दौरान प्रबुद्ध लोगों ने कहीं। हमारा चुनाव लायेगा बदलाव, अब नहीं तो कब, हम नहीं करेंगे तो कौन करेगा, जैसे नारों के साथ जनजागरण रथ ने चुनाव के प्रति लोगों में जागरूकता लाई। डिमना रोड स्थित कार्यालय से निकला दैनिक जागरण अभियान रथ शहर के विभिन्न इलाकों में घूमता रहा। इस दौरान शहरवासियों के बीच यह संदेश देने का प्रयास किया गया कि चुनाव में सुधार जरूरी है ..लोकतंत्र का परिमार्जन जरूरी है और यह काम एक-एक मतदाता के जागरूक हुये बिना नहीं हो सकता है। सोमवार को जनजागरण अभियान रथ सुबह 11 बजे डीसी आवास के समक्ष पहुंचा तो लोगों ने इस अभियान को हाथों-हाथ लिया। लोगों ने नुक्कड़ नाटक देखने बाद दांतों तले अंगुली दबा ली। स्कूल से अपने बच्चों को लेकर लौट रही महिलाओं के समूह ने भी नाटक को बड़े ही गौर से देखा। कौतूहल का विषय यह था कि बच्चे बीच-बीच में अपने मम्मियों से सीधे सवाल दाग रहे थे। मां यह क्या हो रहा है। मां झिझक रही है और बच्चे के सवालों के जबाव शार्ट-कट में देकर फिर कार्यक्रम के तरफ मुखातिब हो रही थी। शत प्रतिशत महिलाओं ने माना कि मतदाताओं के लिए उनसे सीधे संवाद के लिए दैनिक जागरण का पहल जरूरी था। शहर के पॉश इलाके के लोगों को जगाने के बाद जनजागरण अभियान रथ अति व्यस्त माने जाने वाले जगह हावड़ा ब्रिज पहुंचा। यहां दैनिक जागरण का अभियान रथ ठीक चौराहे पर लगा और रंग कर्मियों की आवाज सुन लोग रुकने-ठहरने लगे थे। इस प्रस्तुति के साथ ही जुटे लोगों से बातचीत भी जारी रही और लोगों ने खुल कर अपनी बातें रखीं। सड़क के बीच बने सुंदर डिवाइडर पर खड़े होकर देख रहे लोगों ने कहा कि इस बार बदलाव की बयार बहेगी। विनोद पोद्दार व नयन प्रमाणिक तो काफी गुस्से में दिखे। इनका गुस्सा लाजिमी था। कारण कि वोट के बदले नोट जैसी समाज की बुराइयां लोगों के समक्ष पेश हो रही थी। अमरेन्द्र सिंह ने दैनिक जागरण के प्रयास की सराहना की। उन्होंने कहा कि वह वोट जरूर देंगे और अपनी समझ का इस्तेमाल भी करेंगे। चुनाव प्रचार का शोर थमने से कुछ देर पहले तक जानजागरण अभियान रथ गोलमुरी पहुंचा तो लोगों और राजनीतिक पार्टियों में धीरे-धीरे खामोशी आ रही थी। अंत में लोगों का कहना था कि दैनिक जागरण इतनी बड़ी जनसहभागिता के बाद लोगों के वजूद से जुड़ी एक जरूरी व एक जिंदा बहस छेड़ गया है। यदि इस पर अमल हुआ तो इसका सुखद परिणाम आने वाले दिनों में होगा।